जुएखानों के मालिक डोनाल्ड ट्रंप भले ही अमेरिका के राष्ट्रपति का चुनाव जीत गए हों, वो लोगों का दिल नहीं जीत पाए. ट्रंप जब से जीते हैं लोग नराज़ है. लोग अमेरिका के कई शहरों में सड़कों पर उतर आए हैं. ये लोग ”नॉट माई प्रेसिडेंट यानी मेरे राष्ट्रपति नहीं हैं” के नारे लगा रहे हैं. और डोनाल्ड ट्रंप के पुतले जला रहे हैं.आठ नवंबर को हुए चुनाव में हिलेरी क्लिंटन को हराकर ट्रंप अमेरिका के 45वें राष्ट्रपति बनने जा रहे हैं.
सत्ता के हस्तांतरण के लिए ट्रंप आज मौजूदा राष्ट्रपति बराक ओबामा से उनके दफ़्तर में मिलने वाले हैं.ओबामा और हिलेरी क्लिंटन दोनों ने बुधवार को जनता से अपील की थी कि वो ट्रंप को नेतृत्व का मौक़ा दें. लेकिन इन दोनों की अपील के बावजूद कई शहरों में लोग ट्रंप को अमेरिका के राष्ट्रपति के रुप में स्वीकार करने को तैयार नहीं दिख रहे हैं.
न्यूयॉर्क में हज़ारों लोग ट्रंप टावर तक मार्च करते हुए गए और आप्रवासन, समलैंगिकों के अधिकार जैसे मुद्दों पर ट्रंप की नीतियों के ख़िलाफ़ नारे लगाए. न्यूयॉर्क टाइम्स अख़बार के मुताबिक़ इस मामले में 15 लोगों को गिरफ़्तार किया गया है.
विरोध प्रदर्शन ज़्यादातर जगहों पर शांतिपूर्ण रहे लेकिन कैलिफ़ोर्निया के ओकलैंड में कुछ प्रदर्शनकारियों ने दुकानों की खिड़की तोड़े और पुलिस पर पत्थर फेंके. पुलिस ने इसके जवाब में आंसू गैस के गोले छोड़े.
लॉस एंजेल्स में प्रदशनकारियों ने मशहूर 101 फ़्रीवे को बंद कर दिया. शिकागो में लोगों ने ट्रंप टावर के प्रवेश द्वार को बंद कर दिया और ”नो ट्रंप, नो केकेके, नो फ़ासिस्ट्स यूएसए” के नारे लगाए.
वाशिंगटन में प्रदर्शनकारियों ने कैंडल मार्च निकाला. इस मार्च का आयोजन करने वाले बेन विक्लर ने वहां मौजूद भीड़ को संबोधित करते हुए कहा, ”हमलोग यहां इसलिए जमा हैं क्योंकि अंधकार की इस घड़ी में हम अकेले नहीं हैं.”
फ़िलाडेलफ़िया, बोस्टन, सिएटल और सैन फ़्रांसिस्को में भी भारी विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं. सिएटल में तो एक ट्रंप भक्त ने प्रदर्शनकारियों पर गोली ही चला दी.